मंडी,धर्मवीर(TSN)-मंडी जिला की नदियां,झीलें और कृत्रिम व प्राकृतिक जलाशय इन दिनों प्रवासी पक्षियों की चहचहाट से गूंज उठे हैं।हालांकि गत वर्ष की भांति इस वर्ष भी इन प्रवासी पक्षियों की संख्या में कमी ही देखने को मिल रही है।वन विभाग इनकी कोई अधिकारिक गणना तो नहीं करता लेकिन अनुमान के आधार पर ही इनकी संख्या तय की जाती है।इनका जमावड़ा इनकी संख्या बताने के लिए काफी होता है।
बता दें कि हर वर्ष दिसंबर महीने में यह प्रवासी पक्षी अपने देशों में पारा माइनस में चले जाने के कारण तीन महीनों के लिए यहां के जलाशयों में प्रवास करते हैं।यह प्रवास दिसंबर से शुरू होकर फरवरी महीने तक रहता है।आए हुए प्रवासी पक्षियों में कॉमन कूट,टफ्ड डक,मल्लार्ड,कॉमन पोचार्ड,रेड क्रेस्टेड पोचार्ड,लिटिल ग्रेब,कार्माेरेंट आदि प्रजातियों के पक्षी शामिल हैं।आजकल इन प्रवासी पक्षियों ने जिला की ब्यास नदी,पंडोह डैम,लारजी डैम,रिवालसर झील और सुंदरनगर झील में अपना डेरा जमाया हुआ हैं।मुख्य अरण्यपाल वन वृत मंडी अजीत ठाकुर ने बताया कि हर वर्ष यह प्रवासी पक्षी दिसंबर के महीने में आते हैं और फरवरी महीने के अंत तक वापिस चले जाते हैं।इस दौरान फिल्ड स्टाफ को इन पक्षियों पर निगरानी रखने के निर्देश दे दिए गए हैं ताकि इनके साथ किसी भी प्रकार की कोई छेड़छाड़ न हो सके।उन्होंने बताया कि इस वर्ष भी गत वर्ष के मुकाबले पक्षियों की संख्या बराबर ही है।